August 2025


उल्हासनगर:

उल्हासनगर कैंप 3 स्थित टू व्हीलर बाजार में शुक्रवार को उस समय तनावपूर्ण स्थिति उत्पन्न हो गई जब उल्हासनगर महानगरपालिका (UMC) की प्रभाग समिति क्रमांक 2 ने अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई की। इस कार्रवाई के दौरान व्यापारियों और मनपा कर्मियों के बीच तीखी बहस देखने को मिली।

मनपा की टीम ने दुकानदारों से कहा कि वे बिक्री के लिए खड़ी दोपहिया गाड़ियों को दुकान के अंदर रखें और दुकान के बाहर केवल एक ही गाड़ी की कतार लगाएं, वह भी दुकान के शटर की सीमा के भीतर। अधिकारियों का तर्क था कि गाड़ियों की लंबी कतार से सफाई कार्य बाधित हो रही है, जिससे इलाके में गंदगी और कचरा जमा हो रहा है।

व्यापारियों ने इस कार्रवाई का विरोध करते हुए आरोप लगाया कि उन्हें जानबूझकर परेशान किया जा रहा है। उनका कहना था कि कुछ दिनों पहले मनपा अधिकारियों के साथ हुई बैठक में यह तय हुआ था कि दुकान के बाहर एक ही गाड़ी रखने की अनुमति दी जाएगी, फिर अचानक यह कार्रवाई क्यों?

व्यापारियों ने यह भी आरोप लगाया कि मनपा केवल उन्हें ही निशाना बना रही है, जबकि शहर की सड़कों की खराब हालत, ट्रैफिक जाम, कचरा प्रबंधन और सफाई जैसी गंभीर समस्याओं पर कोई ध्यान नहीं दिया जा रहा है।

व्यापारियों ने प्रशासन से अनुरोध किया कि वे पुनः चर्चा कर कोई स्थायी और व्यावहारिक समाधान निकालें, ताकि उनके व्यवसाय प्रभावित न हों और नियमों का पालन भी सुनिश्चित किया जा सके।

उल्हासनगर के टू व्हीलर बाजार में मनपा की इस कार्रवाई ने व्यापारियों में नाराज़गी फैलाने के साथ-साथ शहर में नियंत्रित व्यवस्था और व्यापारियों के हितों को लेकर सवाल खड़े कर दिए हैं।






 


उल्हासनगर :

शहर के कैंप 3 स्थित सी-ब्लॉक रोड पर गुरुवार रात एक बड़ी दुर्घटना होते-होते टल गई। यहां स्थित एक अति दोखाधायक पांच मंजिला इमारत ‘शिव जगदंबा’ का पिछला हिस्सा अचानक भरभरा कर गिर गया, जिससे आसपास के घरों को भारी नुकसान पहुंचा है।

इमारत में कुल 29 फ्लैट और दो दुकानें थीं। महापालिका ने इस इमारत को सुरक्षा कारणों से पहले ही अति दोखाधायक घोषित कर उसे खाली करवा कर सील कर दिया था। बावजूद इसके, गुरुवार रात को टेरेस से लेकर नीचे तक का पिछला हिस्सा ढह गया।

गनीमत रही कि इस हादसे में कोई जनहानि नहीं हुई। हालांकि, स्थानीय नागरिकों ने महापालिका की कार्यवाही पर नाराजगी जताई और कहा कि यदि समय रहते इमारत को ध्वस्त किया गया होता, तो उनके घरों का नुकसान टाला जा सकता था।

जैसे ही घटना की सूचना मिली, उल्हासनगर महानगरपालिका के अधिकारी और अग्निशमन दल घटनास्थल पर पहुंचे और राहत एवं पंचनामा कार्य शुरू किया।

पुलिस और नगर प्रशासन अब मुआवजे की प्रक्रिया और नुकसान का आकलन कर रहे हैं। इस घटना ने सुरक्षा व्यवस्था और समय पर कार्रवाई की जरूरत को फिर से उजागर किया है।






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