डेरवण (चिपलून) —
मुंबई विश्वविद्यालय के खेल विभाग और एस.एस.टी. कॉलेज ऑफ आर्ट्स एंड कॉमर्स, उल्हासनगर के संयुक्त प्रयासों से आयोजित चौथी क्रीड़ाशिक्षक कार्यशाला का भव्य उद्घाटन 4 अगस्त 2025 को डेरवण स्थित एसवीजेसीटी स्पोर्ट्स अकादमी में हुआ। यह चार दिवसीय कार्यशाला 7 अगस्त तक चलेगी, जिसका उद्देश्य खेल शिक्षकों को नवीनतम तकनीकों और व्यावसायिक दृष्टिकोण से प्रशिक्षित करना है।
कार्यक्रम के मुख्य अतिथि मुंबई विश्वविद्यालय के प्र-कुलगुरू डॉ. अजय भामरे, खेल व शारीरिक शिक्षा विभाग के निदेशक डॉ. मनोज रेड्डी और एस.एस.टी. महाविद्यालय के संस्थापक प्राचार्य डॉ. पुरस्वानी ने अपने विचार व्यक्त किए। इन मान्यवरों ने बदलते खेल शिक्षा के स्वरूप, छात्रों में प्रतिस्पर्धात्मकता और प्रशिक्षण में तकनीक की भूमिका पर प्रकाश डाला।
इस कार्यशाला में मुंबई विश्वविद्यालय से संबद्ध 200 से अधिक खेल शिक्षक भाग ले रहे हैं। विशेषज्ञों द्वारा राष्ट्रीय एवं अंतरराष्ट्रीय खेल नियम, खेलों में तकनीक का उपयोग, खेल मनोविज्ञान, फिटनेस एवं पोषण जैसे विषयों पर व्यावहारिक प्रशिक्षण दिया जाएगा। साथ ही, NAAC मूल्यांकन प्रक्रिया में खेल विभाग की भूमिका पर भी चर्चा की जाएगी।
उद्घाटन समारोह में उपस्थित प्र-कुलगुरू डॉ. भामरे ने खेल शिक्षकों से विद्यार्थियों में खेल संस्कृति का विकास करने का आह्वान किया। उन्होंने कहा, “छात्रों को केवल पुस्तकीय ज्ञान तक सीमित न रखें, बल्कि उन्हें मैदान में लाकर जीवन कौशल सिखाएं। विश्वविद्यालय ऐसे सभी प्रयासों का हर संभव समर्थन करेगा।”
कार्यशाला का समुचित आयोजन एस.एस.टी. महाविद्यालय, उल्हासनगर के खेल विभाग द्वारा किया गया है। प्रो. राहुल अकुल, प्रो. पुष्कर पवार सहित महाविद्यालय के प्राध्यापक एवं स्वयंसेवक इस आयोजन में सक्रिय रूप से जुटे हैं।
यह आयोजन खेल शिक्षकों के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है, जो खेल शिक्षा में नवीनतम रुझानों को अपनाने और विद्यार्थियों की प्रतिभा निखारने में सहायक सिद्ध होगा।
Post a Comment