उल्हासनगर : (अनंद कुमार शर्मा)
कोरोना वायरस की रोकथाम के लिए समूचे देश में लॉकडाउन कर्फ्यू के तहत जीवनावश्यक वस्तुओं की बिक्री चालू है। लेकिन वहां लोगों की भीड़ लग रही है और साथ ही रोजमर्रा में लगनेे वाली सब्जियों केेे दाम भी लोगों को ज्यादा देने पड़ रहे है, इसका मुख्य कारण है बजार में सब्जियों की आवक कम हुई है और सब्जी विक्रेता भी उच्च दामों में सब्जियां बेच कर मुनाफाखोरी करने लग गए हैं।
इसी के चलते लोगों की शिकायतों को देखते हुए उल्हासनगर महानगरपालिका के नगरसेविका डॉ मीना सोंडे ने 1 अप्रैल को एक नई मुहिम शुरू की जिसके अंतर्गत किसानों से ताजा और जैविक सब्जियां खरीद कर सीधे अपने वार्ड के लोगों को पहुंचाने का काम किया।
मीना सोंडे जी ने बताया कि अप्रैल फूल के दिन हमने मुनाफाखोरी करने वाले सब्जी विक्रेताओं को अप्रैल फूल बनाया। उन्होंने बताया कि सब्जी विक्रेता लोगों से कर्फ्यू के चलते नाजायज फायदा उठा रहे है जिसपर लगाम लगाना होगा। किसानों से सीधा घर तक के मुहिम के अंतर्गत डॉ मीना सोंडे और उनके कार्यकर्ताओं ने, बाजार में जो सब्जियों का मूल्य ₹250/- है वो उन्होंने मात्र ₹100/- लोगों के घर तक पहुंचाने का काम किया, जिसमें कुल 6 किलो सब्जियां थी 1 किलो भिंडी, 1 किलो दुद्धी, 1 किलो टमाटर, 1 किलो काकड़ी, 1 किलो शिमला मिर्च और 1 किलो बैंगन का पैकेट बनाकर अपने वार्ड के लोगों को दिया। उन्होंने बताया कि सेवा के रूप में वह यह सब्जियों के पैकेट मुफ्त में भी दे सकती थी, लेकिन अगर मुफ्त दिया जाता तो भीड़ ज्यादा हो जाती जिसे नियंत्रित नहीं किया जा सकता था इसीलिए आज उन्होंने 300 परिवारों को मात्र ₹100 में सब्जियां उपलब्ध कराई ।
क्या मीना जी के इस काम को देखते हुए और भी नगरसेवक अपने अपने वार्डों के लोगों को इस प्रकार की सुविधाएं देने का प्रयास करेंगे....???
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